• .भाजपा को लगा बड़ा झटका, चुनाव से दो दिन पहले मोहाली में भाजपा के चार प्रत्याशी हुए आप में शामिल
  • . 2022 चुनाव में बीजेपी का पंजाब से हो जाएगा पूरा सफाया - हरपाल चीमा




प्रवेश फरंड चंडीगढ़ 

14 फरवरी को पंजाब में होने वाले नगर निकाय चुनाव से दो दिन पहले भाजपा को करारा झटका लगा। मोहाली जिले के भाजपा के चार एमसी प्रत्याशियों ने प्रधानमंत्री नरेंन्द्र मोदी पर तानाशाही रवैया अपनाने का आरोप लगाकर भाजपा छोड़ दिया और आम आदमी पार्टी का दामन थाम लिया। आप में शामिल होने वाले भाजपा प्रत्याशियों का पार्टी में स्वागत करते हुए पार्टी के वरिष्ठ नेता और विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष हरपाल सिंह चीमा ने मीडीया से कहा कि आज देश का गरीब, किसान और हर एक आम जनता नरेंन्द्र मोदी की तानाशाही से परेशान है। नरेंन्द्र मोदी ने देश के किसानों पर बेरहमीपूर्वक काले कृषि कानूनों को थोप दिया। जब किसान इन काले कानूनों के खिलाफ सडक़ पर उतरे और मोदी सरकार का विरोध करना शुरु किया तो मोदी ने पहले किसानों को बदनाम करने के लिए उन्हें खालिस्तानी, पाकिस्ताना, आतंकवादी और गद्दार कहा। किसानों ने जब हार नहीं मानी तो उनपर भाजपा के गुंडों से हमले करवाए गए।

पार्टी मुख्यालय में मीडिया की मौजूदगी में हरपाल सिंह चीमा मोहाली के वार्ड संख्या 9 के भाजपा प्रत्याशी रजिंदर कौर, वार्ड संख्या 21 के भाजपा प्रत्याशी कृष्णा रानी, वार्ड संख्या 23 से भाजपा प्रत्याशी परमजीत कौर और वार्ड संख्या 29 से भाजपा प्रत्याशी बिमला रानी को पार्टी में शामिल कराया। इन नेताओं के भाजपा छोडऩे पर उन्होंने कहा कि आज पंजाब की हर एक जनता नरेंन्द्र मोदी से नफरत कर रही है, लेकिन पंजाब भाजपा के अध्यक्ष अश्विनी शर्मा ने कभी भी पंजाब के लोगों की आवाज को प्रधानमंत्री मोदी के सामने नहीं उठाया। आंदोलन करने वाले 200 से ज्यादा किसान शहीद हो गए लेकिन अश्विनी शर्मा ने सहानुभूति तक नहीं जताई। इसी रवैये के कारण आज भाजपा के नेता लगातार पार्टी छोड़ रहे हैं और इसीलिए भाजपा अध्यक्ष अश्विनी शर्मा आज पार्टी नेताओं को एकजूट करने में नाकाम हो रहे हैं। पंजाब भाजपा के किसी भी नेता ने किसानों के समर्थन में एक शब्द नहीं कहा। गुरदासपुर के भाजपा सांसद सनी देओल को जनता ने वोट देकर सांसद बनाया। पंजाब के लोगों ने देओल परिवार को बहुत मान-सम्मान और प्यार दिया, लेकिन उन्होंने पंजाब के लोगों के साथ गद्दारी की। मोदी सरकार की तानाशाही रवैये को अब लोग समझ गए हैं। आज पंजाब में भाजपा की ऐसी हालत हो गई है कि निकाय चुनाव में भाजपा नेता लोगों के विरोध के डर से वोट मांगने नहीं निकल रहे हैं। मोदी सरकार की तानाशाही पर अब लोगों ने अपनी प्रतिक्रिया देना शुरु कर दिया है। मैं आज दावे के साथ कह रहा हूं कि 2022 के चुनाव में भाजपा का पंजाब से पूरी तरह सफाया हो जाएगा। 


उन्होंने कहा कि आम आदमी पार्टी ही राज्य को आर्थिक रुप से मजबूत बना सकती है। निकाय चुनाव में लोग जिस उत्साह और उमंग से आप उम्मीदवारों का समर्थन कर रहे हैं उससे साफ प्रतीत होता है कि 2022 विधानसभा चुनाव में आम आदमी पार्टी पूर्ण बहुमत के साथ अपनी सरकार बनाएगी। पार्टी में शामिल होने वाले चारों प्रत्याशियों ने कहा कि उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंन्द्र मोदी की किसान विरोधी और तानाशाही रवैये के कारण आज भाजपा छोडऩे की फैसला किया। आप में शामिल होने पर उन्होंने कहा कि वे दिल्ली की अरविंद केजरीवाल सरकार की नीतियों और लोककल्यानकारी कार्यों से प्रभावित होकर आम आदमी पार्टी में शामिल होने का निर्णय किया। इस मौके पर आप के राज्य महासचिव हरचंद सिंह बरसट, पार्टी के वरिष्ठ नेता गोबिंदर मित्तल और राजलाली गिल उपस्थित थे।

 

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